Haryana Board (HBSE) Class 8 Hindi SAT-1 Question Paper 2024 PDF Download. SAT (Students Assessment Test). HBSE Class 8 Hindi SAT Question Paper 2024. Haryana Board Class 8 Hindi Students Assessment Test 2024. HBSE Class 8th Hindi SAT 2024 Answer. Haryana Board Class 8 Students Assessment Test. Haryana Board Class 8 Hindi SAT Paper 2024 Solution. हरियाणा बोर्ड कक्षा 8 हिन्दी SAT पेपर 2024.
Haryana Board Class 8 Hindi SAT-1 Question Paper 2024 Answer Key
Instructions :
• All questions are compulsory.
• Questions (1-5) carry 1 mark each.
• Questions (6) carry 2 marks each.
• Question (7) carry 3 marks.
• Question (8) carry 5 marks.
1. ‘दीवानों की हस्ती’ कविता में दीवाने क्या बन कर आते हैं?
(क) राग
(ख) उल्लास
(ग) रस
(घ) निराशा
उत्तर – (ख) उल्लास
2. ‘बस की यात्रा’ पाठ में लेखक और उसके मित्रों ने कहाँ के लिए बस पकड़ी थी?
(क) नागपुर के लिए
(ख) सतना के लिए
(ग) जबलपुर के लिए
(घ) जोधपुर के लिए
उत्तर – (ख) सतना के लिए
3. लेखक ने कुदाल छोड़कर अपने हाथ में क्या उठा लिया था?
(क) कुल्हाड़ी
(ख) तलवार
(ग) कलम
(घ) पुस्तक
उत्तर – (ग) कलम
4. सिंधु घाटी से पहले का इतिहास किसे माना जाता था?
(क प्राचीन ग्रंथ
(ख) अभिलेख
(ग) वेद
(घ) पुराण
उत्तर – (ग) वेद
5. भारतीयों की जीवन शैली कैसी थी?
(क) खुशहाल
(ख) अभावों व असुरक्षा से ग्रस्त
(ग) सामान्य
(घ) उच्च कोटि की
उत्तर – (ख) अभावों व असुरक्षा से ग्रस्त
6. ‘भारत की खोज’ के आधार पर बताए कि यह नेहरु जी की कौन-सी जेल यात्रा थी? उन्हें बंदी के रूप में किस किले में रखा गया था?
उत्तर – ‘भारत की खोज’ के आधार पर यह पंडित जवाहरलाल नेहरू की नौवी जेल यात्रा थी। उन्हें बंदी के रूप में अहमदनगर किले में रखा गया था।
7. मशीनी युग से बदलू के जीवन में क्या बदलाव आया?
उत्तर – मशीनी युग के कारण उसका सारा व्यवसाय चौपट हो गया। उसने इस लाख की चूड़ियों के अलावा कभी और कुछ सीखा ही नहीं था। जिसके कारण वह बेरोज़गार हो गया। अब वह कमज़ोर व बीमार हो गया था। उसकी बेबसी लेखक को उसके चेहरे पर दिखाई देने लगी थी। जिसने उसे एक बूढ़ा व बीमार व्यक्ति बना दिया था।
8. पत्र जैसा संतोष फोन या एसएमएस का संदेश क्यों नहीं दे सकता?
उत्तर – पत्रों का अपना अलग महत्व है। पत्रों द्वारा हम अपने मनोभावों को खुलकर व्यक्त कर सकते हैं लेकिन फ़ोन, एसएमएस द्वारा केवल कामकाजी बातों को संक्षिप्त रूप से व्यक्त कर सकते हैं। पत्रों को हम अपने सगे-सम्बंधियों की धरोहर के रूप में सहेज कर रख सकते हैं। परन्तु फ़ोन या एस.एम.एस को हम सहेज कर नहीं रख सकते हैं। पत्रों से आत्मीयता झलकती है, इन्हें अनुसंधान का विषय भी बनाया जा सकता है, इन्हें बार बार पढ़ा जा सकता है।